Page 123 - CTB Hi resolution visioneries of bihar pdf
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पढाई में गहरी रुजच रखने वाली िंगीिा ने 1991 में िोकारो लस्थि इिी जवद्ालय   िािचीि के क्म में डॉ. िंगीिा के पजि डॉ. शरद ििािे हैं जक मूल रूप िे हम             माग्षदश्षन िी करिी हैं िाजक इन िजचियों का आतमजवश्वाि िना रहे। यही विह   िी स्वयं ही िंिालिी हैं।  इि जशजवर के िररए अि िक हिारों मजहलाओं का
                                                                                                                                                                                                                                                                                                          े
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                       िे िारहवीं की परीक्ा पाि की और डॉक्टर िनने के इरादे िे जिहार के गया लस्थि   गोपालगि जिले के हथुआ के जनवािी हैं लजकन हमारे चाचा और अपने िमाने में                 हरै जक लक्मी िाई स्पोरि्ष क्लि की िजचियों ने अि िक खेले गए कई मैचों में कई   िंधयाकरण और िैकड़ों लोगों के मोजियाजिंद की िफल िि्षरी का श्य इि
                       अनुग्रह नारायण मगध मेजडकल कॉलेि में दाजखला जलया। कॉलेि में जवििीय वष्ष के   जिहार के खयाजि प्राप्त हड्ी रोग जवशेषज्ञ डॉ.रामािी चौधरी जिवान आ गए थे। जफर हम       अवॉरि्ष और मेड्ि अपने नाम जकए हैं|                              दंपिी को ही िािा हरै।
                       पढाई के दौरान िंगीिा पर पररवार की ओर िे शादी के जलए दिाव िढने लगा और   िी उनके िाथ ही जिवान आए और यहीं के होकर रह गए। मेरे जपिा स्व. जशवशंकर
                       िीिरे वष्ष में पहुंचिे ही िंगीिा की िगाई डॉ. शरद चौधरी के िाथ िंपन्न हुई और   चौधरी जिहार िरकार के वररष्ठ अजधकारी रहे और आजखरी वक्त में एिडीओ के पद                पररवार के िदस्य ििािे हैं जक स्ककूल के जदनों में िंगीिा की खेलों के प्रजि गहरी   डॉ. िंगीिा, इंजडयन मेजडकल एिोजिएशन (जिवान शाखा) की िी िदस्य हैं और
                       पढाई के चौथे वष्ष में जववाह िंपन्न हो गया।                      पर िैनाि थे। लजकन चाचा डॉ. रामािी चौधरी के जचजकतिक होने के कारण हम दोनों                         जदलचस्पी थी और जवजिन्न प्रकार के खेलों में उनहोंने कई अवॉरि्ष न केवल अपने   उनके पजि डॉ. शरद चौधरी िंगठन के जिला िजचव। प्टना ऑबि्टेजट्रकि ऐंड
                                                                                                  े
                                                                                       ही जचजकतिक पजि-पतनी को उनिे काफी कुछ िीखने का अविर जमला।                                         नाम जकए िल्क 1500 मी्टर लॉनग रनर िी रहीं और राजय स्िर पर कांस्य पदक िी   गायनोकोलॉजिकल िोिाइ्टी की िदस्य डॉ. िंगीिा चौधरी को अपने काय्ष क्ेत्
                                                                                                                                                                                                                                                                                     रै
                                                                                                                                                                                                                                          रै
                          िंगीिा चौधरी की मां िाजवत्ी देवी अपने िमाने की ग्रेिुए्ट थी लेजकन िमाि                                                                                        अपने नाम जकया। खेलों के प्रजि िंगीिा की गहरी रुजच िी एक कारण ह जक आि   में कई िार िममाजनि िी जकया िा चुका ह। 2018 में गुडगांव के हो्टल लीला में
                                                                                                                                                                                                                                                                       े
                                                                                                                                                                                                                                            रै
                       की िजदशों और पाररवाररक िमस्याओं के कारण वे चाह कर िी नौकरी न कर िकीं,   िानकार ििािे हैं जक डॉ.िंगीिा चौधरी की िमाि िेवा में गहरी रुजच हरै और                    लक्मी िाई स्पोरि्ष क्लि जनतय नए कीजि्षमान स्थाजपि करने में िफल रहा ह।    फेडरेशन ऑफ ऑबि्टजट्रकि ऐंड गायनोकोलॉिी विारा आयोजिि िवय इं्टरनेशनल
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                       जििका उनहें मलाल रहा। यही विह रही जक िाजवत्ी देवी ने अपनी ििी िज्टयों   इिे धयान में रखकर डॉ. िंगीिा ने अपनी िाि स्व. ििरी देवी के नाम पर कुछ                                                                                    वीमेंि िमी्ट के दौरान फोगिी की पूव्ष अधयक् डॉ. नंजदिा पालशेिकर के हाथों
                                                                            े
                                                                                                                              े
                       को न केवल अचछी िालीम जदलाई िल्क उनहें अपने पैरों पर खड़ा होने के जलए   वष्ष पव्ष ििरी देवी मेमोररयल ट्रस््ट के नाम िे एक िंगठन की शुरुआि की और                     जिवान के स्थानीय लोग ििािे हैं जक डॉ. िंगीिा चौधरी अपने प्रोफेशन में   ‘अपराजििा अनिंग हीरो अवाड्ड’ िे नवािा गया था। इिके अलावा डॉ. चौधरी को
                                                                                              े
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                       प्रोतिाजहि िी जकया।                                             इि िंगठन के िाथ जिले के कई वररष्ठ जचजकतिक िी िुड़कर अपनी जनश्क                                   वयस्ििा के िाििूद िामाजिक काययों के जलए वक्त जनकाल कर लोगों के िीच रहना   जचजकतिा के क्ेत् में जकए गए िेहिर कामों को धयान में रखकर हाल ही में दैजनक
                                                                                                                                             ु
                                                                                       िेवाएं दे रहे हैं। डॉ. िंगीिा चौधरी कहिी हैं जक िेिरी देवी मेमोररयल ट्रस््ट के                   पिंद करिी हैं िाजक लोगों के दुःख-दद्ष और उनकी िमस्याओं की िानकारी उन   िास्कर िमूह विारा प्टना में िी िममाजनि जकया गया ह।
                                                                                                                                                                                                                                                                                              रै
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                          एमिीिीएि के फाइनल वष्ष में कदम रखिे ही िंगीिा की गोद िरी और पत्   िैनर िले हमने जिले की प्रजििावान मजहला जखलाजड़यों को धयान में रखकर लक्मी                    िक पहुंच िके। प्रतयेक वष्ष पहली िनवरी को गरीिों के िीच कंिलों के जविरण के
                       के रूप में मोजहि याजन जनहाल जनजखल का िनम हुआ। डॉ िंगीिा चौधरी के िामन  े  िाई स्पोरि्ष क्लि की िी स्थापना की हरै और इि क्लि विारा मजहला जखलाजड़यों               िाथ गरीिों के िोिन की वयवस्था, 15 अगस्ि एवं 2 अक्टटूिर को जनशु्क जचजकतिा   मुंिई के प्रजिद्ध डॉ. प्रकाश जत्वेदी एवं अकोला के डॉ. रािेश मोदी िे
                       अि पोस््ट ग्रेिुए्ट की पढाई का लक्य था। एक माह 20 जदन के ननहे जनहाल को   को बलेिर, िोिन, स्वास््थय िंिंधी िजवधाएं एवं हॉस््टल की िजवधाओं के अलावा                जशजवर का आयोिन एवं दवाओं के जनशु्क जविरण डॉ. चौधरी के वाजष्षक रू्टीन का   एलेकट्रोस्कोपी एवं कोलकिा िे िवा्षइकल कैंिर में जवशेष प्रजशक्ण प्राप्त कर चुकी डॉ.
                                                                                                                 ु
                                                                                                                                   ु
                       छोड़कर िंगीिा रांची जवश्वजवद्ालय के अधीन रािेंद्र इंस््टीट्ू्ट ऑफ मजडकल   जवजिन्न प्रकार के खेलों का उजचि प्रजशक्ण जदया िािा हरै। डॉ. िंगीिा आगे ििािी           जहस्िा हैं।                                                     िंगीिा चौधरी का जिवान लस्थि आदश्ष म््टीस्पेशजल्टी ि्टर आि पूरे जिहार का
                                                                                                                                                                                                                                                                                                ें
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                       िाइंि पहुंची और इिी कॉलि िे 2007 में अपनी पीिी (मास््टर जडग्री) की पढाई   हैं जक हमारी िस्था िे िड़कर खेलने वाली िजचियों को हम राष्टीय एवं अिरराष्टीय                                                                            एक प्रमुख केंद्र माना िािा ह िहां, उनके जिले के अलावा दूर-दराि िे िी लोग इि
                                                                                                         ु
                                                                                                                                                                                                                                                         ें
                       पूरी की। इिी िाल जिहार िरकार के स्वास््थय जविाग में िंगीिा की कॉनट्ररैक्ट पर   प्रजियोजगिाओं के जलए िैयार करने में लगे हैं और इिे केंद्र में रखकर इन िजचियों       हर िाल अपने ििुर स्व. जशवशंकर चौधरी की पुणयजिजथ के अविर पर    ि्टर पर आिे हैं।
                                                                                                                                            ं
                       जनयलक्त हुई। 2007 में िंगीिा की पोलस््टंग जिहार और उत्तर प्रदेश के िॉडर पर   को उजचि प्रजशक्ण िी प्रदान जकया िा रहा हरै। जिन िजचियों को हमारी िस्था न  े         डॉ.िंगीिा अपने पजि डॉ. शरद चौधरी के िाथ जमलकर एक जवशाल स्वास््थय
                          ु
                                                                                                                           ं
                       लस्थि गुठनी के एक िरकारी अस्पिाल में हुई लेजकन पाररवाररक और स्वास््थय   गोद जलया हरै, उनमें करीि 15 िे 20 िजचियों को िस्था की िरफ िे िाइजकल दी                   जशजवर का िी िंचालन करिी हैं, जििमें िैकड़ों की िादाद में आने वाले मरीिों   एक वक्त था िि िंगीिा प्रशािजनक अजधकारी िन िनिा की िेवा करने का
                       कारणों की विह िे िंगीिा ने 2009 में इस्िीफ़ा दे जदया। इधर डॉ. िंगीिा के पजि   गई हरै और एक िचिी को स्ककू्टी िी प्रदान की गई हरै िाजक उनहें आगे िढने में जकिी      और उनके पररवार के िदस्यों के ठहरने, खाने की वयवस्था के िाथ उनके   िपना देखा करिी थीं। लेजकन जनयजि को कुछ और ही मंिूर था। आि जचजकतिक
                       और िाने-माने नत् रोग जवशेषज्ञ डॉ. शरद चौधरी ने िी ििंिपुर लस्थि िरकारी   िी प्रकार की कमी महिि न हो। िस्था के अजधकारी और कम्षचाररयों का कहना                     मोजियाजिंद की िि्षरी की जिममदारी डॉ. शरद और उनकी ्टीम खुद उठािी हरै।   के रूप डॉ. िंगीिा चौधरी ने न केवल खुद की एक अलग पहचान िनाई, िल्क
                                   े
                                                                                                                 ं
                                                                                                                                                                                                               े
                                                                                                         ू
                                                                                                                                                                                                                                                                                                         रै
                       अस्पिाल िे तयागपत् दे जदया और दोनों पजि-पतनी ने अपनी जनिी प्रैलक्टि को   हरै जक िमय-िमय पर डॉ. िंगीिा चौधरी यहां आयोजिि काय्षक्मों में खुद पहुंचिी               डॉ. िंगीिा चौधरी की फेििुक पोस््ट िे पिा लगिा हरै जक इि जवशाल जशजवर   िमाि िेवा के माधयम िे उनहोंने िो खयाजि अजि्षि की ह वो अद्ुि ह और
                                                                                                                                                                                                                                                                                                रै
                                                                                                                                                                                                                            ु
                       आगे िढाया।                                                      हैं और िजचियों को कर न केवल उनका हौिला िढािी हैं िल्क उनका उजचि                                  के जदन डॉ. िंगीिा चौधरी मजहलाओं के जलए जनश्क िंधयाकरण का दाजयतव   िजमिाल िी |  O
                                                                                                                                                                                                                                                         े
                       122   डॉ. संगीता चौधरी                                                                                                                                                                                                                                                     डॉ. संगीता चौधरी  123
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