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फीस के साथ 250 रुपये में नॉम्दल बडलीवरी और 1000 रुपये में बसिेररयन के साथ काम
शुरू बकया और आने वाले कुछ ही वक़ि में कामयािी उनके कदम िूमने लगी। साथ ही
रोबगयों की सुबवधाओं को धयान में रखिे हुए 1996 में िैंक से कि्द लेकर मुंगेर में सव्दप्रथम
अ्ट्ासाउंड सें्टर की शुरुआि का श्य भी डॉ. रूपा प्रसाद को ही िािा है।
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डॉ. रूपा प्रसाद और डॉ. रािकुमार ने अपने दोनों िच्चों की िालीम पर खासा
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धयान बदया। उनके दोनों िच्च 2021 में डॉक्टर िन गए। डॉ. रूपा प्रसाद के िड़े पत् डॉ.
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राहुल राि की प्रारंबभक बशक्ा नोट्डम सककूल मंगेर एवं सें्ट िोसफ कॉलि, नाथ्द पॉइं्ट,
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दाबि्दबलंग से संपन्न हुई। पुणे के भारिी बवद्ापीठ से एमिीिीएस करने के िाद बिहार के
बकशनगि लसथि एमिीएम मबडकल कॉलि से ऑथथोपबडकस में एमएस की बडग्री हाबसल
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की। डॉ. रूपा और रािकुमार की पुत्ी डॉ. ऋिु राि की प्रारंबभक बशक्ा मंगेर के प्रबसद्ध
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नोट्डम एकेडमी से हुई और ऋिुराि ने बिहार के बकशनगि के एमिीएम मबडकल
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कॉलि से 2021 में एमिीिीएस की बडग्री हाबसल की।
1993 में वे इंबडयन मेबडकल एसोबसएशन की मुंगेर बांि से आिीवन सदसय के रूप
में िड़ीं और कई सममान हाबसल कर िुकी हैं। डॉ. रूपा प्रसाद लंिे अरसे से समािसेवा
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से भी िड़ी हुई हैं और प्रतयेक माह में िीन बदन गरीि मरीिों के बलए बनशु्क बिबकतसा
कैंप का आयोिन रो्टरी लिि मुंगेर के मंि से करिी आ रही हैं। 2020 में डॉ. रूपा
प्रसाद रो्टरी लिि ऑफ मुंगेर बस्टी के अधयक् पद पर रहीं हैं। डॉ. रूपा प्रसाद ने
रो्टरी लिि ऑफ मुंगेर के अंिग्दि िड़ी संखया में बनयबमि रूप से वृक्ारोपण, गममी में
पीने के पानी, िाड़े के बदनों में कंिल एवं अलाव, मोबियाबिंद के ऑपरेशन आबद कामों
में अपना योगदान दें रही हैं। 2017 एवं 2021 में आई भीषण िाढ़ के दौरान कैंप लगाकर
मुफि बिबकतसा, दवा, सूखे राशन के साथ आवशयक सामग्री के बविरण में भी उनकी
अहम भूबमका रही। इन सि के साथ मवेबशयों के बलए हरा िारा भी िां्टा गया। डॉ.
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रूपा प्रसाद की पहल पर लायंस लिि ऑफ मुंगेर, वामा ने ि्टवन िािार की सीिा
देवी के गरीि पररवार को गोद बलया बिसमें सीिा देवी के िीन िच्चों की बनशु्क बशक्ा
बिममेदारी संसथा उठाएगी।
िाििीि के क्रम में डॉ. रूपा प्रसाद ने ििाया की ि्द वे अपना एक एनिीओ शुरू
करने पर बविार कर रही हैं। अभी इसके नाम पर फैसला नहीं हुआ है। संभाबवि संसथा
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बिन बवषयों पर काय्द करेगी उनमें हाइिीन ठीक रखना, यट्स कैंसर से ििाव एव ं
उड़ीसा की उतकल यूबनवबस्द्टी के अधीन श्ी राम िंद्र भंि मेबडकल कॉलेि से िागरूकिा, पस्दनल केयर, सेकस बशक्ा, िड़ी-िू्टी एवं गभ्द बनरोधक दवाओं से दूरी एव ं
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एमिीिीएस की बडग्री हाबसल करने वाली डॉ. रूपा प्रसाद बिहार के बिबकतसा िगि सेन्टरी नरैपबकन का महतव आबद शाबमल है। साथ ही वे कोरोना िीमारी से ििने के िारे में
में बकसी पररिय की मोहिाि नहीं। 1990 में एमिीिीएस की बडग्री हाबसल करने के दूर-दराि के ग्रामीण इलाके में िाकर लोगों को िागरूक करिीं हैं।
िाद प्टना मेबडकल कॉलेि एवं असपिाल से 1992 में H.S की बडग्री हाबसल करने
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वाली डॉ.रूपा की सककूली बशक्ा दयानंद आिाय्द बवद्ालय ओबडशा से हुई और 1985 में अक्य कुमार अबभनीि बफ्म पडमन की िारीफ करिे हुए डॉ. रूपा कहिी हैं बक
कंिाइंड मेबडकल एंट्रेंस परीक्ा पास करने के िाद श्ी राम िंद्र भंि मेबडकल कॉलेि थी और मुझे हर कदम पर पररवार का साथ बमला। डॉ. रूपा के बपिा सव. बवश्वनाथ मबहलाओं को बफ्म का अनुसरण करने के ििाय िागरूक होने की िरूरि है।
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क्टक में उनहोंने दाबखला बलया। इसी कॉलेि से रूपा ने अप्ररैल 1990 में एमिीिीएस प्रसाद प्टना इंिीबनयररंग कॉलेि के छात् रहे और पेशे से इलेलकट्कल इंिीबनयर मबहलाएं यबद िाह िो खुद सेने्टरी पड िरैयार कर सकिी हैं इसके बलए वे पहले कपड़े
की बडग्री हाबसल की। थे। वे लंिे समय िक राउरकेला स्टील पलां्ट के पाइप पलां्ट यूबन्ट (िम्दन-इंडो को प्रेशर कुकर में डालकर 2 सी्टी लगाएं। उसमें ये स्टरलाइि बकया कॉ्टन भररें। इसे
कोलोिोरेशन) में सहायक महाप्रिंधक के रूप में काय्दरि रहे। 2 भाइयों और 4 िहनों ऑ्टो लिेव कहिे हैं।
में पांिवे नंिर पर रूपा शुरू से ही पढ़ाई में काफी अचछी थीं और समाि में अपनी
15 अक्टिर 1987 को रूपा का बववाह बिहार के लखीसराय के अमरपुर मेदनी
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िौकी बनवासी डॉ.रािकुमार के साथ संपन्न हुआ। डॉ. रािकुमार ने प्टना मेबडकल एक अलग पहिान िनाना िाहिी थीं। डॉ. प्रसाद का मानना है बक इंसान में ज्ञान अबि्दि करने की िाहि का होना िेहद
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कॉलेि एवं असपिाल से 1988 में एमिीिीएस की बडग्री हाबसल की और DMRD रांिी िरूरी है। मिई से अ्ट्ासॉउंड में पूरे िॉडी सकैन का कोस्द करने के िाद डॉ. रूपा को देश
मेबडकल कॉलेि से रेबडयोलॉिी की बडग्री हाबसल की। आि बिहार के िंद खयाबि 1990 में डॉक्टर िनने के िाद 1993 में डॉ. रूपा ने मुंगेर के गोमिी गोयनका मािृ के िाने-माने बिबकतसक सवगमीय डॉ. मुकुंद िोशी द्ारा भी सममाबनि बकया िा िुका है।
प्राप्त रेबडओलॉबिस्ट के रूप में उनकी भी पहिान है। रांिी लसथि रािेंद्र इंलस्टट्ू्ट सदन में महि िार हिार के माबसक वेिन पर ज्ाइन बकया और इस संसथा में 11 उनहोंने कोलकािा के ईको सें्टर से ईको काबडडिओग्राफी का कोस्द भी बकया है और वे अपन े
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ऑफ मेबडकल साइंस से डीएमआरडी की बडग्री हाबसल कर िुके डॉ. रािकुमार इन महीने िक काय्दरि रहीं। 1994 में डॉ. रूपा ने प्रसूबि एवं सत्ी रोग बवशेषज्ञ के िौर ललिबनक में बनओन्टल बन सकैन भी करिी हैं।
बदनों वरीय मेबडकल अफसर के िौर पर शेखपुरा िेल में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। पर मुंगेर के िोपखाना िािार में एक बकराए के घर से बनिी ललिबनक की शुरुआि
एक सवाल के िवाि में भावुक होकर डॉ. रूपा कहिी हैं बक मैं आि िो कुछ भी की और बफर कभी पीछे पल्ट कर नहीं देखा। िानकार ििािे हैं बक डॉ. रूपा डॉ. रूपा प्रसाद ने कम कीमि में िेहिर बिबकतसा उपलबध कराने के अलावा, समाि
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ह वो अपने मािा-बपिा की िदौलि ह। मैं डॉक्टर िन मरीिों की सेवा करना िाहिी प्रसाद को गरीि मरीिों की बफक्र थी ऐसे में उनहोंने महि 30 रुपये की कंस््टसी सेवा के िररए मंगेर के लोगों को यह भी एहसास कराया है बक वक़ि पर अपनों के काम
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आना ही सच्ची मानव सेवा है और सभी को इसमें योगदान देना ही िाबहए। O
98 डॉ. रूपा प्रसाद डॉ. रूपा प्रसाद 99